एल बी संवर्ग शिक्षकों की बिना पगार बनेगी दिवाली, शिक्षकों में रोष
छ ग राज्य बनने के बाद आज तक ऐसा कभी नही हुआ है कि दिपावली जैसे अपार खुशियों से परिपूर्ण महत्वपूर्ण त्योहार .. और शासन स्तर पर त्योहार पूर्व वेतन भुगतान के लिए आदेश जारी न किया गया हो… शासकीय कर्मचारियों के लिए यह त्योहार ऐतिहासिक है क्योंकि अब तक ऐसे कोई परिपाटी नही रहा है।.. वेतनभोगी शासकीय कर्मचारी जो.. शासन के कर्म एवं ज्ञान इंद्रिया दोनों है।.. छ. ग. सरकार के द्वारा यह नया परंपरा से छ. ग. सरकार के कर्मचारी *बेहद दुखी, मायुस, हतास एवं तीव्र आक्रोशित* है। खासकर शिक्षक एल बी समुदाय में गहरी असंतोष और नाराजगी देखी जा रही है।… शासन के बेरूखी से.. इस वर्ष स्कूल शिक्षा विभाग मे कार्यरत शासकीय एल बी शिक्षक कर्मचारियों के घर, पगार के अभाव मे दीवाली सुनी रहेगी “बगैर तेल की दिपक, बगैर मिठाई की मिठास , बगैर पटाखे की खुशियां और बगैर नये कपड़ो की रौनकता” मनेगी सुनी दिवाली ।..शिक्षको के परिवारजनो मे छ ग सरकार के द्वारा अक्टूबर माह का दिवाली पूर्व वेतन प्रदान करने वाले आदेश जारी नही होने से खासा आक्रोशित, क्रुद्ध, एवं गहरी असंतोष देखने को मिल रहा है।.. बहरहाल इतना अवश्य है कि दिवाली पूर्व वेतन भुगतान आदेश नही होने से .. शिक्षक एल बी संवर्ग एवं उन सभी कर्मचारियों के परिवार की खुशियां केवल ख्वाब बन कर रह गई जिन्हें वेतन नही मिला ।.. और यह केवल तत्तसंबंध आदेश न आने का परिणाम है। छग प्रदेश संयुक्त शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष नीलेश रामटेके ने इस पर गहरी नाराजगी , तीव्र असंतोष व्यक्त किया है। छ ग प्रदेश संयुक्त शिक्षक संघ किसी भी सरकार से अपेक्षा करती है की भविष्य मे दीपावली जैसे आपार खुशियों से परिपूर्ण महत्वपूर्ण त्यौहार के पूर्व कर्मचारियों को उनके वेतन का कुछ अंश, भुगतान करने की व्यवस्था करनी चाहिए ।


