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डीए एवं एचआरए आंदोलन कर्मचारी अधिकारियों के साथ जबरदस्त धोखा, छल एवं गद्दारी – जाकेश साहू

डीए एवं एचआरए आंदोलन कर्मचारी अधिकारियों के साथ जबरदस्त धोखा, छल एवं गद्दारी – जाकेश साहू

रायपुर //-
छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के तहत किए जा रहे आंदोलन एवं आंदोलन की समाप्ति प्रदेश के साढ़े चार लाख कर्मचारी- अधिकारियों के साथ एक जबरदस्त धोखा, छल एवं गद्दारी है। चूंकि कल फेडरेशन के प्रदेश स्तरीय बैठक में यह कहा गया था की 12% डीए एवं एचआरए के मांग पूर्ति के बगैर आंदोलन समाप्ति नहीं होगा, परंतु आज अचानक ऐसा क्या हो गया जिसके कारण आंदोलन समाप्ति की गई…???
छत्तीसगढ़ प्रदेश के धाकड़ कर्मचारी नेता एवं शिक्षक एलबी संवर्ग छत्तीसगढ़ के प्रदेश अध्यक्ष जाकर साहू ने फेडरेशन के हड़ताल समाप्ति पर समस्त सोसल एवं प्रेस मीडिया में बयान जारी कर उक्त हड़ताल समाप्ति को प्रदेश के साढ़े चार लाख कर्मचारी अधिकारियों के साथ जबरदस्त धोखा, छल एवं पीठ में छुरा भोंकना बताया है।
प्रदेश के तेजतर्रार कर्मचारी नेता जाकेश साहू ने कहा कि हमारे साथ फेडरेशन के टॉप लीडर कमल वर्मा सहित उनके कोर कमेटी के सदस्यों के द्वारा राज्य के साढ़े चार लाख कर्मचारियों- अधिकारियों के साथ जबरदस्त धोखा किया गया है। जब आंदोलन के संबंध में दो दिन पहले मुख्यमंत्री जी का स्टेटमेंट आया कि प्रदेश के कर्मचारी अधिकारी हड़ताल समाप्त कर दें इसके बाद फेडरेशन के आंदोलन में हलचल बढ़ गई थी। इसके बाद कमल वर्मा द्वारा रायपुर में अचानक एक सितंबर को बैठक बुलाई गई थी जिसमें आंदोलन समाप्ति की सुगबुगाहट का खबर प्रदेश भर में आग की तरह फैल गया जिसके पश्चात प्रदेश भर के विभिन्न संगठनों के अधिकारी कर्मचारी बड़ी संख्या में रायपुर में फेडरेशन के बैठक में उपस्थित हुए तथा वहां पर आंदोलन समाप्ति के मुद्दे पर कमल वर्मा एवं समस्त प्रदेश पदाधिकारियों को खरी-खोटी सुनाई एवं आंदोलन जारी रखने का ऐलान कर दिया।
प्रदेशभर से आए हुए कर्मचारी अधिकारियों का स्पष्ट कहना था कि जब तक लंबित दिए और एचआरए अर्थात 38% डीए और सातवें वेतनमान पर एचआरए का आदेश जारी नहीं हो जाता तब तक हम साढ़े चार लाख कर्मचारी अधिकारी आंदोलन पर डटे रहेंगे। साथ ही उक्त संबंध में राजधानी के समस्त इलेक्ट्रॉनिक एवं प्रिंट मीडिया में यह खबर चलने लगा कि लगातार हड़ताल जारी रहेगा। तत्पश्चात बैठक समाप्त हो गई। लेकिन इसके दूसरे ही दिन अर्थात दो सितंबर को अचानक ऐसा क्या हुआ कि आंदोलन समाप्त करना पड़ा। इसकी पटकथा थी कि मुख्यमंत्री के आंदोलन समाप्ति की चेतावनी के बाद संयोजक कमल वर्मा एवं इसकी कोर कमिटी मुख्यमंत्री के बयान से डरे हुए थे और आंदोलन समाप्त करने वाले थे लेकिन विभिन्न सोशल मीडिया व्हाट्सएप ग्रुप में प्रदेश भर के साडे चार लाख कर्मचारियों के तेवर एवं विरोध को देखते हुए कमल वर्मा ने अचानक बैठक बुलाई जहां पर सभी कर्मचारी पहुंचकर विरोध जता दिए, इसलिए कमल वर्मा एवं उसकी टीम ने आंदोलन जारी रखने का ऐलान किया था लेकिन बैठक समाप्ति होने के बाद कमल वर्मा द्वारा फिर एक नई पटकथा लिखी गई और कैबिनेट मंत्री रविंद्र चौबे से मिलकर आंदोलन समाप्ति की घोषणा कर दी यह कर्मचारी एवं अधिकारियों के साथ जबरदस्त धोखा, छल एवं गद्दारी है।
कर्मचारी नेता जाकेश साहू ने बताया कि उक्त आंदोलन की समाप्ति से प्रदेशभर के कर्मचारी अधिकारी हक्के- बक्के रह गए हैं लोगों को विश्वास ही नहीं हो रहा है कि आंदोलन समाप्त हो चुकी है।
आज प्रदेश के बस्तर संभाग, सरगुजा संभाग, बिलासपुर संभाग एवं दुर्ग संभाग में सभी जगह के साढ़े चार लाख कर्मचारी अधिकारियों द्वारा फेडरेशन के उक्त आंदोलन समाप्ति से काफी नाराज एवं दुखी हैं।
*चार सितंबर को रायपुर कलेक्ट्रेड गार्डन में आपात बैठक*
उक्त मुद्दे पर प्रदेश के कद्दावर कर्मचारी नेता एवं शिक्षक एलबी संवर्ग के प्रदेश अध्यक्ष जाकेश साहू ने आगामी रविवार 4 सितंबर को राजधानी रायपुर के कलेक्ट्रेट गार्डन में प्रदेश भर के समस्त 27 जिलों के समस्त 104 संगठनों के जिलाध्यक्ष, जिला संयोजक, जिला बाड़ी के सभी पदाधिकारी एवं प्रदेश के 146 विकास खंडों के फेडरेशन के समस्त विकासखंड संयोजक, ब्लॉक अध्यक्ष, सचिव एवं सभी पदाधिकारियों से अपील की है कि 27 जिलों एवं 146 विकासखंडों से एक-एक गाड़ी में सभी साथी हड़ताल समाप्ति के मुद्दे पर विरोध जताने एवं आगे की रणनीति तय करने, अधिक से अधिक संख्या में रविवार 2 सितंबर को, रायपुर कलेक्ट्रेट गार्डन में सुबह 11:00 बजे तक पहुंचे।
सुबह 11:00 बजे से शाम 4:00 बजे तक प्रदेश के साढ़े चार लाख अधिकारीयों कर्मचारियों के केंद्र के समान लंबित डीए एवं एचआरए तथा विभिन्न मुद्दों पर आंदोलन एवं भावी रणनीति तय करने के लिए बैठक आयोजित की गई है।
कर्मचारी नेता जाकेश साहू ने प्रदेश भर के कर्मचारियों से अपील की है की आगामी 4 सितंबर रविवार को सुबह 11:00 बजे कलेक्ट्रेट गार्डन रायपुर में अधिक से अधिक संख्या में बैठक में उपस्थिति देवें।

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