कोविड ड्यूटी बना शिक्षको की मौत का कारण 50 लाख चाहिए मुआवजा
हाईकोर्ट सख्त शासन से मांगा जवाब
बिलासपुर – कोविड़ काल में हुई शिक्षकों की मौत के मामले में जनहित याचिका पर हाईकोर्ट ने शासन से जवाब मांगा हैं।
इस मामले को लेकर बिलासपुर निवासी दिलीप सारथी ने छग हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करके शिक्षकों के लिए मुआवजे की मांग किया है उनका कहना है की राज्य सरकार ने गंभीर महामारी के समय बिना सुविधा उपलब्ध कराए शिक्षकों को विभिन्न प्रकार के ड्यूटी में लगाया था जिसमें ट्रेनिंग से लेकर चेक पोस्ट, कोविड मरीजों के देखरेख,सर्वे,के साथ आप्रवासी मजदूरों की शिपटिंग यहां तक कि शमशान घाट में कोविड से मृत लोगों के व्यव्स्था में भी ड्यूटी लगाया था जिसके वजह से बहुत से शिक्षक संक्रमित होकर काल कलातित हुए थे जिसे राज्य सरकार ने बिना शासकीय मुआवजा दिए अपनी जिम्मेदारी से इतिश्री कर लिया था जिससे कारण उनके परिवार सड़क पर आ गया है।
मालूम हो की श्री दिलीप सारथी शिक्षक नेता श्री शिव सारथी के छोटे भाई है जिसने शिक्षक परिवार के संवेदना को समझते हुए माननीय हाईकोर्ट में 50 लाख की मुआवजा राशि के लिए जनहित याचिका दायर किया है जिसकी सुनवाई लंबे समय से माननीय चीफ जस्टिस हाईकोर्ट कर रहे हैं जिनके नोटिस का जवाब देने शासन बच रहा है।हाईकोर्ट के सख्त तेवर से अब शासन जवान पेश करेगा और इसकी सुनवाई हाईकोर्ट के गर्मी की छुट्टी के बाद होगा।
शिक्षक नेता शिव सारथी ने आशा व्यक्त किया है कि देश की न्याय व्यवस्था पर हम शिक्षकों को पूर्ण भरोसा है वह शिक्षको की शहादत को व्यर्थ नहीं जाने देगा और शिक्षको के परिवार को केंद्र सरकार के समान मुआवजे की राशि 50 लाख मिलेगा।
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